दिल्ली : कर्नाटक में सरकार गठन के लिए कांग्रेस और जनता दल में CM पद को लेकर 30-30 महीने का कोई समझौता नहीं हुआ है। मुख्यमंत्री बनने जा रहे जेडीएस नेता एचडी कुमारस्वामी ने उन रिपोर्टों को सिरे से खारिज कर दिया है | 23 मई को जनता दल सेक्युलर (जेडीएस) के नेता एचडी कुमारस्वामी मुख्यमंत्री पद की शपथ लेने से पहले कुमारस्वामी हासन गए और वहां उन्होंने लक्ष्मी नरसिम्हा के मंदिर में पूजा अर्चना की, सोमवार को दिल्ली में पूर्व कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी और मौजूदा अध्यक्ष राहुल गांधी से मुलाकात करने वाले हैं | इस दौरान कर्नाटक कैबिनेट में संभावित मंत्रियों को लेकर चर्चा होनी है |
मुलाकात में मंत्रालयों के बंटवारे को लेकर चर्चा होगी। ऐसा माना जा रहा है, कि कांग्रेस राज्य की 33 सदस्यों वाली कैबिनेट में अपने पास 20 मंत्रालय रखेगी। हालांकि 20 सीटों के बावजूद कांग्रेस का कैबिनेट में प्रतिनिधित्व कम ही रहेगा। कांग्रेस के पास राज्य की 68 सीटें हैं, जबकि जेडीएस के पास 37 विधायक हैं। मुख्यमंत्री पद के अलावा जेडीएस अपने पास महत्वपूर्ण मंत्रालय जैसे कि वित्त, पीडब्ल्यूडी और सिंचाई विभाग को रखना चाहता है। कांग्रेस के महासचिव और कर्नाटक के प्रभारी केसी वेणुगोपाल ने कहा, ‘बुधवार को अकेले कुमारस्वामी मुख्यमंत्री पद के तौर पर शपथ लेंगे। इसके बाद गुरुवार को फ्लोर टेस्ट होगा। उसी दिन स्पीकर का चुनाव भी होगा।
इस समझौते के तहत कुमारस्वामी ने जनवरी 2006 से बीजेपी-जेडीएस गठबंधन सरकार का नेतृत्व किया था लेकिन जब सरकार का नेतृत्व करने के लिए बीजेपी की बारी आई तो कुमारस्वामी समझौते से मुकर गए और बीएस येदियुरप्पा को सत्ता सौंपने से इनकार कर दिया। आखिरकार सरकार गिर गई। इसके बाद 2008 में हुए चुनावों में बीजेपी ने अपने दम पर सरकार बनाई और येदियुरप्पा दक्षिण में बीजेपी की पहली सरकार के मुख्यमंत्री बने।