एससी-एसटी एक्ट के विरोध को लेकर देवकीनंदन ठाकुर सलाखों के पीछे, कहा सरकार को दो महीने का समय दे रहे है

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आगरा: एससी-एसटी एक्ट का विरोध कर रहे मशहूर कथावाचक देवकीनंदन ठाकुर को आज आगरा पुलिस ने गिरफ्तार किया | देवकीनंदन ठाकुर एससी एसटी एक्ट संशोधन के विरोध को लेकर आजकल काफी चर्चा में हैं | देवकीनंदन ठाकुर एससी एसटी एक्ट संशोधन के विरोध को लेकर आजकल काफी चर्चा में हैं | ठाकुर आगरा में पत्रकार वार्ता कर रहे थे | इसी दौरान भारी संख्या में पहुंची पुलिस ने धारा 144 का हवाला देकर उन्हें गिरफ्तार किया | आज आगरा के खंदौली में देवकीनंदन ठाकुर की सभा होनी थी जिसे प्रशासन ने अनुमति नहीं दी थी |

 

 

देवकी नंदन ठाकुर ने कहा, ”अगर समाज किसी कानून से बंटेगा तो सारी पार्टियों और सारे सांसदों से कहता हूं कि इस पर विचार करें| हम सरकार को दो महीने का समय दे रहे हैं, इसके बाद जो होगा वो सब लोग देखेंगे.”

 

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देवकीनंदन ठाकुर ने इसे लोकतंत्र की हत्या करार दिया है | देवकीनंदन ठाकुर छह सिंतबर को हुए सवर्ण आंदोलन के कथित नेता हैं | ठाकुर एससी-एसटी एक्ट का पुरजोर विरोध कर रहे हैं | उनका कहना है कि इससे समाज में खाई बढ़ रही है |

पिछले दिनों उन्होंने एबीपी न्यूज़ से बात करते हुए कहा था कि हमारी अपनी सरकार अगर ऐसा कदम उठाएगी तो क्या मेरा अधिकार नहीं है कि मैं अपनी बात रख सकूं | हमें एससी-एसटी एक्ट चाहिए लेकिन जैसा सुप्रीम कोर्ट ने कहा है |

 

 

देवकी नंदन ठाकुर ने कहा था, ”चार युग निकल गए हम नहीं बंटे लेकिन जब से देश में जाति की राजनीति करने लगे हम आपस में बंट गए | हम देश, संस्कृति की बात नहीं करते | देश की संस्कृति है कि हम आपस में शक करें | इस कानून के बाद लोगों में डर बढ़ेगा कि मैं इसके साथ बैठूंगा तो मुझे जेल हो जाएगी |”

 

 

देवकीनंदन ठाकुर एससी एसटी एक्ट का विरोध करने मंगलवार को आगरा आए थे | लेकिन प्रशासन ने उन्हें अनुमति नहीं दी | अनुमति न मिलने पर उन्होंने कमला नगर स्थित एक होटल में दोपहर 2 बजे प्रेस कांफ्रोस की | प्रेस कांफ्रेंस के 2 घंटे बाद यानी 4 बजे उनको शांति भंग के आरोप में धारा 151 में गिरफ्तार कर लिया गया | पुलिस उनको गिरफ्तार कर पुलिस लाइन ले गई जहां से उनको निजी मुचलके पर रिहा कर दिया गया |

 

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रिहाई के बाद ठाकुर देवकीनन्दन मथुरा के लिये रवाना हो गये | प्रेस कांफ्रेंस में देवकीनंदन ने बताया कि उनको बदनाम करने की कोशिश की जा रही है | सोशल मीडिया के माध्यम से उनको जान से मारने की भी धमकी दी गई है | ये सब एससी एसटी एक्ट कानून का विरोध करने पर किया जा रहा है | अगर सरकार इस कानून में बदलाव नहीं करती है तो हम उग्र आन्दोलन करेंगे |

 

 

सीओ हरीपर्वत अभिषेक सिंह का कहना था कि देवकीनन्दन आगरा के खन्दौली में मीटिंग करने जा रहे थे | उनको मीटिंग की अनुमति नहीं थी | लेकिन वे एक होटल में प्रेस कांफ्रेंस कर रहे थे | उनके पास उसकी भी अनुमति नहीं थी | देवकीनन्दन को धारा 151 के तहत गिरफ्तार कर पुलिस लाइन ले जाया गया था |

 

 

देवकीनंदन एक कथावाचक और आध्यात्मिक गुरु हैं | SC-ST एक्ट के खिलाफ मुहिम चलाने के लिए ‘अखंड इंडिया मिशन’ नाम का एक दल भी बनाया गया है | इस दल का राष्ट्रीय अध्यक्ष देवकीनंदन ठाकुर को बनाया गया है | एससी-एसटी एक्ट में किए गए बदलाव को समाज बांटने वाला बताते हुए भागवताचार्य देवकीनंदन ठाकुर ने कहा कि केंद्र सरकार अगले दो महीने में इस एक्ट को सुप्रीम कोर्ट के आदेशानुसार रूप में बदल दे |

 

 

इस बाबत एसएसपी अमित पाठक का कहना है कि देवकी नंदन को पूछताछ के लिए हिरासत में लिया गया है। आगरा आने के उनके उद्देश्य के बारे में जाना जा रहा है। जांच चल रही है कि कहीं उन्होंने कोई भड़काऊ बात तो नहीं कही। मथुरा में एक संगठन बनाकर उन्होंने आंदोलन का ऐलान किया था। जिसके चलते मथुरा प्रशासन ने उन्हें नोटिस दे दिया था। वृंदावन में हुए विप्र महाकुंभ के आयोजकों में भी वे शामिल रहे।

 

 

कथावाचक देवकीनंदन ठाकुर हाल ही में अपने एक विवादित बयान को लेकर खूब चर्चा में रहे | यदि ऐसा नहीं हुआ तो हम सब मिलकर देश को जातिगत राजनीति वाले दलों से स्थाई समाधान देंगे | उन्होंने सरकार को चेतावनी भरे लहजे में कहा था- ‘दो महीने का समय हमने लिया है, अगर हमें हल मिल गया तो हम कुछ नहीं करेंगे | अगर नहीं मिला तो वो करेंगे जो भारत के इतिहास में कभी हुआ ही नहीं.’

 

 

देवकीनंदन ठाकुर का जन्म 12 सितंबर 1978 को उत्तर प्रदेश के मथुरा में हुआ था | वह श्रीकृष्ण जन्मभूमि मथुरा के ओहावा गांव के एक ब्राह्मण परिवार से हैं | उनकी मां श्रीमद्भागवतगीता महापुराण में काफी विश्वास रखती थीं | उनके अलावा उनके 4 भाई और दो बहनें भी हैं |

 

 

6 साल की उम्र में वह घर छोड़कर वृंदावन पहुंचे और ब्रज के रासलीला संस्थान में हिस्सा लिया | यहां उन्होंने भगवान कृष्ण और भगवान राम की भूमिकाएं निभाईं | श्रीकृष्ण (ठाकुरजी) की भूमिका निभाने की वजह से घर में उन्हें ‘ठाकुरजी’ कहा जाने लगा |

 

 

कहा जाता है कि 13 साल की उम्र में उन्होंने श्रीमद्भागवतपुराण कंठस्थ कर लिया | उन्होंने निंबार्क संप्रदाय के अनुयायी के रूप में गुरु-शिष्य की परंपरा के तौर पर दीक्षा ली |

 

 

18 साल की उम्र में दिल्ली के शाहदरा में श्रीराममंदिर में श्रीमदभागवत महापुराण के उपदेश लोगों को दिए | इसके बाद उन्होंने कई जगहों पर श्रीकृष्ण और राम कथा का वाचन किया और उनके फॉलोअर्स की संख्या बढ़ने लगी | बता दें कि ट्विटर पर उनके 3 लाख 27 हजार फॉलोअर्स जबकि फेसबुक पर 25 लाख से ज्यादा फॉलोअर्स हैं |