5 वर्ष पहले गायब हुई किशोरी को पुलिस ने मोबाईल एप की मदद से खोज निकाला

15 थाना अध्यक्ष कर चुके थे बरामदगी का प्रयास
पिता ने तीन पर बहला फुसलाकर भगा ले जाने का लगाया था आरोप

रिपोर्ट : गोपाल द्विवेदी , रीडर टाइम्सहरदोई : 5 वर्ष पहले स्कूल से गायब हुई नाबालिग लड़की को पुलिस ने एक कालर आइडेंटी एप की मदद से खोज निकाला है ।मामला थाना माधोगंज का है जहाँ एक पिता ने 3 लोगो पर बहला फुसलाकर भगा ले जाने का आरोप लगाया था।

थाना क्षेत्र के गांव मिर्जागंज कुरसठ निवासी तुलसीराम पुत्र मूलई ने न्यायालय के आदेश पर दर्ज कराई रिपोर्ट में कहा था कि उसकी पुत्री पल्लवी 3 वर्ष को सतेंद्र सिंह पुत्र बबलू यादव निवासी फ्तियापुरवा थाना सुरसा, मुलायम पुत्र मुन्ना व बबलू पुत्र हरीराम निवासीगण अटवा अली मरदानपुर को 20 मई 2014 को बहला फुसलाकर कही ले गए।

तत्कालीन थानाध्यक्ष उत्तम कुमार सिंह राठौर ने नामजद आरोपी सतेंद्र कुमार को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया था| वह करीब लगभग 9 माह तक जेल में रहा | उसके बाद मामला ठंडे बस्ते में चला गया। श्री राठौर के बाद चौदह थानाध्यक्ष अपने अपनी नियुक्ति के दौरान प्रयास करते रहे लेकिन कोई सफलता हाथ नहीं लगी |

एसटीएफ शैलेन्द्र कमार ने परिजनों के फोन नम्बरो को ट्रेस करना शुरू किया। करीब 5000 फोन कालों के रिकॉर्ड के दौरान एक नंबर मिला जिससे कई बार मिस काल तो की गई थी लेकिन कभी उस फोन नंबर से बात नहीं हुई थी |

पुलिस ने उस नंबर को एक एप के द्वारा चेक किया तो नंबर में उसी लड़की का नाम निकला जो 5 साल पहले गायब हुई थी |लोकेशन ट्रेस करने के बाद उस लड़की को जिला सीतापुर थाना पिसावां के गांव बाज नगर निवासी प्रदीप सिंह पुत्र नरेंद्र सिंह के घर से बरामद कर लिया गया ।

बरामद हुई पल्लवी ने पुलिस को बताया कि वह अपने प्रेमी सतेन्द्र से बात करके 20 मई 2014 को घर से चली गई थी । कस्बे में स्थित रेलवे स्टेशन पर उसने प्रेमी का इन्तेजार किया लेकिन जब प्रेमी नहीं आया तो वह ट्रेन से कानपुर चली गई | वहाँ एक व्यक्ति झनखर से उसकी मुलाकात हुई जो उसे यह कहकर ले गया कि मेरी बेटी की तरह तुम भी में घर पर चलकर रहो |

पल्लवी उसके साथ ग्राम बाज पुरवा थाना पिसावां जिला सीतापुर चली गई । झनखर ने पल्लवी की शादी गांव के प्रदीप सिंह पुत्र नरेंद्र सिंह से करा दी उससे एक 3 वर्ष की पुत्री है।

लड़की को अपने घर का नंबर याद था इस करण वह कई बार घर को फोन मिलाती तो थी लेकिन कभी बात करने की हिम्मत नहीं कर पाती थी | इन्ही काल्स की मदद से पुलिस उसको ट्रेस कर पाई थी | पल्लवी को पुलिस मेडिकल परीक्षण के लिए जिला अस्पताल भेज दिया।