रिपोर्ट शरद द्विवेदी
रीडर टाइम्स न्यूज़
भाजपा सरकार की ब्यूरोक्रेसी उन भ्रष्चारियो पर मेहरबान है जिन लोगो ने सरकार की जमीन बेच डाली।दरअसल मामला कई वर्ष पुराना है व ग्राम टिकारी तहसील संडीला जिला हरदोई से जुड़ा हुआ है। संडीला तहसील में तैनात तत्कालीन रजिस्ट्रार कानूनगो दिनेश तिवारी ने अपने पद का दुरूपयोग कर संडीला के भ्रष्ट राजस्व कर्मचारियों की मिलीभगत से सरकारी भूमियों को फर्जी तरीके से अपने व अपने परिवार के सदस्यों के व अपने करीबियों के नाम राजस्व अभिलेखों में फर्जीवाड़ा कर नियमविरुद्ध दर्शा कर सरकारी भूमियों को बेच डाला व अकूत संपत्ति अर्जित की। इस फर्जीवाड़े के संबंध में आशा देवी,विमला तिवारी,विष्णुनारायण तिवारी,सुखविंदर, श्रवण कुमार,तत्कालीन रजिस्ट्रार कानून गो संडीला के खिलाफ एक एफआईआर दिनांक 10/05/2020 को संडीला कोतवाली में 419,420,467,468,471 गंभीर धाराओं के अंतर्गत पंजीकृत की गई थी। प्राप्त जानकारी के अनुसार मात्र दो ही लोगो को जेल भेजा गया बाकी लोगो को शासन सत्ता के दवाब के कारण गिरफ्तार नही किया गया।जब कि बाकी के आरोपियों ,के खिलाफ जो सबूत है वह सबूत खुद ही गवाही दे रहे है कि बाकी के आरोपी नामजद ब्यक्ति दोषी है | तत्कालीन रजिस्ट्रार कानूनगो ने लेखपाल की मिली भगत से सारा खेल खेला लेकिन जांच में रिटायर्ड कानूनगो को दोषी बनाया गया।इस संबंध में शिकायतकर्ता ने कई प्रार्थनापत्र उच्च स्तरीय अधिकारियों को दिए लेकिन वह प्रार्थना पत्र संबंधित तहसील में जांच हेतु प्रेषित होने पर उन पर भ्रामक रिपोर्ट लगा कर लगातार राजस्व विभाग दोषियों को बचा रहा है।
इस प्रकरण से एक बात निश्चित तौर पर समझ मे आती है कि सरकार में किसी भी शिकायतकर्ता की सुनवाई नही हो रही है और भ्रष्ट अधिकारियों की फौज लगातार भ्रष्टाचार कर रही है और सरकार को बदनाम कर रही है आखिर कब संडीला की पुलिस निष्पक्ष जांच कर बाकी के दोषियों को जेल भेजेगी यह बड़ा सवाल है।