रीडर टाइम्स न्यूज़ डेस्क
इस बार के कुम्भ में तीन शाही स्नान होंगे और इसके अतिरिक्त तीन ऐसी तिथियां होगी जिन पर स्नान करना भी काफी शुभ माना जाएगा …
महाकुंभ 2025 का शुभारंभ 13 जनवरी 2025 को होगा जबकि इसका समापन 26 फरवरी 2025 को महाशिवरात्रि के दिनों में महाकुंभ के पहले शाही स्नान की तिथि को जानने को लेकर श्रद्धालुओं मैं जिज्ञासा इंटरनेट पर सर्च करने पर तिथियों में कई भ्रमतिया फैली हुई। कोई 13 जनवरी को पहला शाही स्थान बता रहा तो कोई 14 जनवरी को …आइये जानते हैं
महाकुंभ 45 दिन तक चलेगा आपको बता दे की प्रयागराज में आयोजित इस बार के महाकुंभ का शुभारम्भ 12 जनवरी हो गया , लेकिन पहला शाही स्नान १४ जनवरी को होगा। इस बार के कुम्भ में तीन शाही स्नान होंगे। वही इस महाकुंभ 2025 में करोड़ों लोग पहुंचने वाले हैं। इससे पहले वहां संतो के अखाड़े का प्रवेश हो गया है। जूना अखाड़ा , आवाहन अखाड़ा समेत ऐसे कई अखाड़े महाकुंभ में पहुंच रहे। इन अखाड़ों के साधुओं को देखने के लिए भी लोग आतुर रहते हैं।इन अखाड़ों में से एक श्री शंभू पंचदशनाम आवाहन अखाडा भी हैं। जिसकी कहानी बहुत दिलचस्प है। इस अखाड़े की स्थापना 547 ई में हुई थी। महंत रत्नागिरी , श्री महंत हंस दीनानाथ गिरी, श्री महंत मारिच गिरी समेत कई संतों ने मिलकर इसकी न्यू रखी थी।
स्नान और शाही स्नान की तिथियां –
- 13 जनवरी (सोमवार) स्नान पौष पूर्णिमा
- 14 जनवरी (मंगलवार) शाही स्थान , मकर संक्रांति
- 29 जनवरी (बुधवार) शाही स्नान , मौनी अमावस्या
- 3 फरवरी (सोमवार ) शाही स्नान ,बसंत पंचमी
- 12 फरवरी ( बुधवार ) स्नान , माघी पूर्णिमा
- 26 फरवरी (बुधवार ) स्नान महाशिवरात्रि
इन पवित्र नदियों पर कुंभ का होता आयोजन –
महाकुंभ हिंदू धर्म का एक महत्वपूर्ण धार्मिक उत्सव है इसे कुंभ मेला भी कहा जाता है महाकुंभ का आयोजन 12 वर्षों में किया जाता है जहां पर श्रद्धालु आस्था के डुबकी लगाते हैं और उत्सव भारत की चार पवित्र नदी और कर तीर्थ स्थान पर आयोजित होता है। महाकुंभ का आयोजन प्रयागराज के संगम हरिद्वार में गंगा नदी ,उज्जैन में शिप्रा नदी और नासिक में गोदावरी नदी पर किया जाता है इस बार प्रयागराज में महाकुंभ मेले का आयोजन हो रहा है।