जिला स्तरीय अधिकारी डी सी एन एल आर एम पर चार्ज .
वहीं बाल विकास में ढाई माह से सी डी पी ओ नहीं .
बिलग्राम। तहसील मुख्यालय स्तरीय विकास खंड में दूर दराज क्षेत्रों से आने वाले ग्रामीणों को बी डी ओ कार्यालय अक्सर बंद मिलता है । तमाम दिक्कतों को लेकर आने वालों के लिये बी डी ओ का बंद कार्यालय उनकी समस्याओं पर भारी पड़ता है । नौ से ग्यारह तक समस्याएं सुनने का सरकारी फरमान बौना साबित हो रहा है। ग्राम अख्तियारपुर निवासी वृद्ध राम सनेही अपनी पेंशन की समस्या सुनाने के लिये आए पर दफ्तर बंद मिला , इसी तरह रहुला के शफीक बोरिंग प्रमाण पत्र के बनवाने के लिये प्रार्थना पत्र लिये बी डी ओ की तलाश में भटकते नजर आए । हैबतपुर के निवासी रामखिलावन , चाँद पुर निवासी कमलेश हों या सुदूर गांव हसनापुर के राजेंद्र ने बताया कि अपने अपने कामों को लेकर वे ब्लाक में कई दिन से आते है पर खंड विकास अधिकारी के न मिलने से समस्याएं नहीं सुलझ रही है । उधर विकास खंड सूत्रों से ज्ञात हुआ कि बिलग्राम विकास खंड का चार्ज लगभग एक वर्ष से जिला स्तरीय अधिकारियों के पास है । पूर्व में चार्ज डी सी मनरेगा राजनाथ प्रसाद भगत के पास था वर्तमान में डी सी एन एल आर एम विपिन चौधरी के पास है । सूत्र बताते हैं कि वे ब्लाक कम आ पाते है । जिसके चलते स्वच्छता , आवास , जैसे कामो पर भी प्रभाव पड रहा है । इस क्रम में इंचार्ज बी डी ओ विपिन चौधरी ने बताया कि वे मंगलवार को लखनऊ में प्रशिक्षण पर आए है । ढाई माह से मुख्य सेविका के पास सी डी पी ओ का कार्यभार है ।
विकास विभाग ही नहीं बाल विकास विभाग भी अपने अधिकारी का ढाई माह से इंतजार कर रहा है । जिससे बच्चों के लिये चलाई जा रही योजनाओ पर असर पड़ रहा है । इंचार्ज मुख्य सेविका उमा गुप्ता के मुताबिक एक मई से सी डी पी ओ ट्रेनिंग पर रही जून में स्थानांतरण पर चली गई। ऐसे एक मई से उनके पास ही चार्ज है ।